जिले में एक अप्रैल से गेहूं की सरकारी खरीद शुरू होने जा रही है, जिसके लिए प्रशासन ने पूरी तैयारियां कर ली हैं।
इस बार नई अनाज मंडी सहित विभिन्न खरीद केंद्रों पर किसानों की सुविधा के लिए व्यापक प्रबंध किए गए हैं। मंडी में पेयजल, शौचालय व सफाई व्यवस्था पूरी तरह दुरुस्त कर दी गई है, ताकि किसानों को किसी प्रकार की परेशानी न हो।
इस वर्ष सोनीपत में नई अनाज मंडी व तीन खरीद केंद्रों को मिलाकर करीब छह लाख क्विंटल गेहूं की आवक होने की संभावना है। किसानों की सुविधा के लिए दो एजेंसियों को गेहूं खरीद का जिम्मा सौंपा गया है। मार्केट कमेटी ने किसानों की सुविधा के लिए पेयजल व शौचालय की उचित व्यवस्था की है।
मंडी में सफाई व्यवस्था पर विशेष ध्यान दिया गया है, ताकि खरीद प्रक्रिया के दौरान किसानों को स्वच्छ व अनुकूल वातावरण मिल सके। इसके अलावा तुलाई, बोरी की उपलब्धता व परिवहन व्यवस्था को भी पूरी तरह चाक-चौबंद रखा गया है। किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) का पूरा लाभ दिलाने के लिए कृषि विभाग व मार्केट कमेटी के अधिकारियों को विशेष निर्देश दिए गए हैं।
48 घंटे में फसल का भुगतान
किसानों को उनकी उपज का समय पर भुगतान सुनिश्चित करने के लिए ऑनलाइन भुगतान प्रणाली को मजबूत किया गया है। मार्केट कमेटी के अधिकारियों के अनुसार खरीद के 48 घंटे के भीतर किसानों को उनके बैंक खातों में भुगतान कर दिया जाएगा।
इसके लिए बैंक अधिकारियों से समन्वय भी स्थापित किया गया है। किसानों से भी अपील की गई है कि वे अपनी फसल को अच्छी तरह साफ करके और निर्धारित नमी के हिसाब से ही मंडी में लाएं, ताकि उन्हें किसी तरह की परेशानी न हो। क्रय केंद्रों पर मानकों के अनुसार ही गेहूं की खरीद की जाएगी।



